अभी हाल ही में केंद्र सरकार की तरफ से सोशल मीडिया और ओटीटी प्लेटफॉर्म को लेकर के नई गाइडलाइन्स जारी की गयी। इसी गाइडलाइन्स के तहत मणिपुर के इंफाल के जिलाधिकारी ने पत्रकार को नोटिस भेज दिया। लेकिन जिलाधिकारी की इस कार्रवाई को सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय ने गलत बताया और कहा कि आपको कार्रवाई करने का कोई अधिकार नहीं है।
आपको बता दें कि मणिपुर के इंफाल के जिलधिकारी नोआराम प्रवीन ने नई गाइडलाइन्स के तहर सोशल मीडिया पर टॉक शो ‘खानसी नीनासी’ चलाने वाले पत्रकार को नोटिस भेजा। टॉक शो कर्रेंट अफेयर्स और न्यूज़ पर आधारित है जिसे सोशल मीडिया के ही माध्यम से प्रसारित किया जाता है। इस मामले में सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय के हस्तछेप के बाद पत्रकार को भेजा गया नोटिस वापस ले लिया गया।
सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय के सचिव अमित खरे ने इस संबंध में मणिपुर के मुख्य सचिव राजेश कुमार को पत्र लिखकर के इंफाल के डीएम नोआराम प्रवीन सिंह और पत्रकार का जिक्र करते हुए कहा कि डीएम ने पत्रकार से उन मानदंडों को साबित करने को कहा था जो पत्रकारों के लिए प्रेस कॉउंसिल ऑफ इंडिया द्वारा तय किये गए हैं। इसके आगे पत्र में कहा गया कि सूचना प्रौद्योगिकी नियम 2021 को सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम 2021 के तहत 25 फ़रवरी को बनाया गया था। इन नियमों के तहत राज्य सरकार के अधिकारियों के पास किसी प्रकार की कार्रवाई का अधिकार नहीं दिया गया है। पत्रकार को दिए गए नोटिस को तुरंत वापस लेना होगा।
इसी के बाद पत्रकार को भेजे गए नोटिस को वापस ले लिया गया।